विद्यालयों केआधारभूत संरचना सशक्त होना आवश्यक, बढ़ेगाआकर्षण।
शहाबुद्दीन अहमद
बेतिया,पश्चिमी चंपारण, बिहार।
विद्यालयों में पठन पाठन का वातावरण बनाने मेंआधारभूत संरचनाओं का भी बहुत महत्वपूर्ण योगदान होता है, इससे कतई इंकार नहीं किया जा सकता कि मूल में शिक्षा है,जो शिक्षकों के बूते ही प्राप्त की जा सकती है,पर यह भी आवश्यक है कि समय के अनुसार वे बुनियादी सुविधाएं भी होनी चाहिए ताकि विद्यार्थियों का विद्यालयों के प्रतिआकर्षण बना रहे, विद्यार्थियों कोआकर्षण के लिए सुंदर विद्यालय भवन, खेल का मैदान,खेल का सामान,पठन-पाठन के लिए विभिन्न प्रकार के सामग्री, कंप्यूटर कक्ष,इंटरनेट, वाचनालय,पुस्तकालय, शौचालय,स्वच्छ पानी की व्यवस्था,प्रयोगशाला इत्यादि का होनाआवश्यक है,तभी जाकर विद्यालयों में सभी छात्र-छात्राएं का आकर्षण केंद्र बनेगा,साथ ही पठन-पाठन में रुचि बढ़ेगी।
जिले के अंदर विद्यालय विकास के लिए जो राशि सरकार के द्वारा प्राप्त होती है उस राशि से विद्यालय विकास हेतु विभिन्न प्रकार के काम किया जाए।विद्यालयों के इंफ्रास्ट्रक्चरअगर सहीऔर दुरुस्त नहीं रहेंगे,तो सभी छात्र-छात्राओं को बैठने का बेहतर इंतजाम नहीं रहेगा तो फिर छात्र,छात्राओं को विद्यालय के प्रतिआकर्षण और रुचि नहीं बढ़ेगा,जिससे गुणवत्तापूर्ण शिक्षा का परिकल्पना पूरी नहीं की जा सकती।आकर्षक एवं सुरक्षित ज्जित ढंग से सजे हुए निजी विद्यालयों की तुलना में सरकारी विद्यालयों में भी ऐसा ही इंतजाम करना पड़ेगा तभी जाकर सरकारी विद्यालयों के छात्र,छात्राओं में रुचि बढ़ेगी साथ ही विद्यालय के प्रति आकर्षण भी बढ़ेगा।इस डिजिटल इंडिया के युग में प्रत्येक विद्यालय में कंप्यूटर लैब,इंटरनेट,वाई-फाई की सुविधा भी देनी पड़ेगी। विद्यार्थियों का विद्यालय के प्रति आकर्षण के लिए बेहतर संसाधन आवश्यक होता है।